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श्री केदारनाथ धाम यात्रा: आस्था, रोजगार और विकास का संगम

(शहजाद अली हरिद्वार) केदारनाथ। उत्तराखंड की आस्था का केंद्र श्री केदारनाथ धाम हर वर्ष नए कीर्तिमान स्थापित कर रहा है। बाबा केदार के दर्शनों हेतु देश-विदेश से लाखों श्रद्धालु पहुंच रहे हैं, जिससे न केवल धार्मिक आस्था को बल मिल रहा है, बल्कि स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी नया जीवन मिला है।मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि यात्रा का उद्देश्य केवल तीर्थयात्रियों को सुविधाएं देना नहीं, बल्कि स्थानीय युवाओं, महिलाओं और व्यापारियों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाना भी है। सरकार यात्रा को सुरक्षित, सुगम और समृद्ध बनाने हेतु निरंतर प्रयासरत है।कपाट खुलने के एक महीने में ही 7 लाख से अधिक श्रद्धालु बाबा के दर्शन कर चुके हैं। औसतन प्रतिदिन 24,000 से अधिक यात्री केदारपुरी पहुंच रहे हैं। इस दौरान स्थानीय व्यापारियों ने दो अरब से अधिक का कारोबार किया है।घोड़े-खच्चरों से 1.39 लाख श्रद्धालुओं ने यात्रा की, जिससे ₹40.50 करोड़ की आय हुई। हेली सेवाओं से 33,000 श्रद्धालुओं ने दर्शन किए, जिससे ₹35 करोड़ का राजस्व प्राप्त हुआ। डंडी-कंडी सेवा से ₹1.17 करोड़, जबकि टैक्सी शटल सेवा से ₹7 करोड़ की कमाई हुई। होटल-रेस्तरां व्यवसाय में ₹100 करोड़ से अधिक का कारोबार हुआ। जीएमवीएन के 15 प्रतिष्ठानों ने ₹3.80 करोड़ का राजस्व अर्जित किया।

साफ-सफाई और नियमों के उल्लंघन पर ₹2.26 लाख का जुर्माना भी वसूला गया। महिला-बुजुर्गों के लिए आरक्षित वाहनों की शुरुआत एक सकारात्मक पहल है।

केदारनाथ यात्रा अब केवल धार्मिक यात्रा नहीं, बल्कि उत्तराखंड के विकास की धुरी बन चुकी है।

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